प्रात:काल में कानों में भजन की ये पंक्तियां सुनायी दीं। बड़ा अच्छा लगा। कितनी सरल सी बात है कि ऐ मानव तू अपने मन पर अधिकार कर ले, मन का स्वयं चेला मत बन, अपितु उसे अपना चेला बना ले। बस, हो गया तेरा भजन। भजन की इन पंक्तियां को सुनने से लगता है कि […]
Category: विशेष संपादकीय
फांसी पर सियासत गलत
देश की संप्रभुता की प्रतीक संसद पर हमला करने वाले अफजल गुरू को फांसी की सजा दे दी गयी है। देश की एकता और अखण्डता को चूर चूर करने का संकल्प लेने वाले आतंकी का अंतिम मुकाम फांसी ही था परंतु फिर भी हमारी न्यायपालिका ने दोषी को साक्ष्य और सुनवाई का पूर्ण अवसर प्रदान […]
रायसीना हिल्स पर बैठे देश के प्रथम नागरिक राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी ने 64वें गणतंत्र दिवस की पूर्ण संध्या पर बड़े सारगर्भित ढंग से देश को संबोधित किया। उनके संबोधन में गंभीरता थी और देश में गिरते नैतिक मूल्यों के प्रति उनका दर्द साफ झलक रहा था। वास्तव में आज देश में राष्ट्र के सामने नैतिक […]
महाराणा का अपमान अब भी जारी है
भारत के जीवंत इतिहास के जिन उज्ज्वल पृष्ठों को छल प्रपंचों का पाला मार गया उनमें महाराणा प्रताप का गौरवमयी व्यक्तित्व सर्वाधिक आहत हुआ है। मैथिलीशरण गुप्त ने कभी लिखा था- जिसको न निज गौरव न निज देश का अभिमान है, वह नर नही नर पशु निरा है और मृतक समान है। जब ये पंक्तियां […]
नये वित्तवर्ष का रेल बजट पेश करने से पूर्व ही रेलमंत्री पवन बंसल ने सभी वर्गों के रेल किरायों में वृद्घि की है। 2014 के लोकसभा चुनावों के दृष्टिगत यह बढ़ोत्तरी बहुत ही अर्थपूर्ण है। इसका एक अर्थ यह भी हो सकता है कि रेलमंत्री रेल बजट में किरायों में वृद्घि न करके जनता को […]
सहज और स्वाभाविक बनो
व्यावहारिक जीवन में हम किसी भी ऐसे बच्चे की बातों से अधिक प्रभावित होते हैं जो तोतली भाषा में अपनी बात को तुतला-तुतलाकर कहता है, किंतु कहता वही है जो कुछ उसकी नजरों में सच होता है, उसकी बातों की सहजता और स्वाभाविकता ही हमारे हृदय को प्रभावित करती है। स्वाभाविकता कहते ही उसको हैं […]
तभी होगा नववर्ष मंगलमय
जीवन नश्वर है, जिंदगी की भागदौड़ में यह फटाफट बीतता जा रहा है। कितने ही वसंत आये और चले गये। जीवन की रेलगाड़ी रफ्तार से सफर तय किये जा रही है। संसार के बहुत सारे लोग हैं जिन्हें अभी तक जीवन के गंतव्य का ध्यान नही है। अस्त-व्यस्त होकर जीवन जीने वाले ऐसे असंख्य लोगों […]
भाजपा ऊहापोह की कैंचुली से बाहर आए
गुजरात में नरेन्द्र मोदी को जनता ने लगातार तीसरी बार अपना नेता चुन लिया है। उधर हिमाचल प्रदेश में वहां की जनता ने अपना निर्णय राजा बीरभद्र सिंह के पक्ष में दिया है। दोनों प्रदेशों में हुए चुनावों के परिणाम के बाद सर्वाधिक निराशाजनक बात ये है कि देश के दोनों बड़े राजनीतिक दल कांग्रेस […]
भाजपा ऊहापोह की कैंचुली से बाहर आए
गुजरात में नरेन्द्र मोदी को जनता ने लगातार तीसरी बार अपना नेता चुन लिया है। उधर हिमाचल प्रदेश में वहां की जनता ने अपना निर्णय राजा बीरभद्र सिंह के पक्ष में दिया है। दोनों प्रदेशों में हुए चुनावों के परिणाम के बाद सर्वाधिक निराशाजनक बात ये है कि देश के दोनों बड़े राजनीतिक दल कांग्रेस […]
रहमान की व्यर्थ की भारत यात्रा
पाकिस्तान के गृहमंत्री रहमान मलिक की यात्रा पर आए और चले गये, एक पड़ोसी देश के गृहमंत्री की इस यात्रा का कुल मिलाकर निष्कर्ष इतना ही निकल सकता है। उन्होंने पाकिस्तान के पूर्व सैनिक शासक की उस बैठक की याद दिला दी जिसमें उन्होंने ताज नगरी आगरा में बैठकर भारत के तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी […]