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इतिहास के पन्नों से विश्वगुरू के रूप में भारत स्वर्णिम इतिहास

भारत के महान हिंदू सम्राटों के विजय अभियान 4,5,6

रामायण और महाभारत तथा पुराणों से यह स्पष्ट है कि यवन भी भारतीय क्षत्रिय ही हैं ।सम्राट अशोक का शासन यवन प्रांत तक था और यवनराज तुषार अशोक का एक सामंत था। पुष्यमित्र के पुत्र वसुमित्र ने सिंधु तीर पर यवनों को परास्त किया ,,इसका उल्लेख भी पुराणों में और महान वैयाकरण पतंजलि के महाभाष्य […]

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आओ कुछ जाने स्वर्णिम इतिहास

कश्मीर के शासकों की सूची

कश्मीर के शासकों की सूची (3238 ई.पू.-1154 ई.) (जी गुरु जी इसका हेडिंग बदलने की कृपा करें।) कश्मीर के इतिहास में कश्मीरी कवि कल्हण की राजतरंगिणी ही मुख्य है। कल्हण के पहले सुव्रत, क्षेमेन्द्र, हेलाराज, नीलमुनि, पद्ममिहिर और छविल्लभट्ट आदि ग्रंथकार हुए हैं, किन्तु इनमें से कई के ग्रन्थ अप्राप्य हैं। कल्हण ने लिखा है […]

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स्वर्णिम इतिहास हमारे क्रांतिकारी / महापुरुष

राष्ट्रवाद की अलख जगाने वाले धन सिंह गुर्जर कोतवाल

हमारे जितने भी महान क्रांतिकारी स्वतंत्रता सेनानी हुए वे सबके सब भारतीय स्वाधीनता और संस्कृति के ध्वजवाहक और रक्षक थे। इन महान क्रांतिकारियों में धन सिंह कोतवाल गुर्जर का नाम अग्रगण्य है। यदि यह प्रश्न किया जाए कि धन सिंह कोतवाल गुर्जर को स्वतंत्रता सेनानी और भारतीय संस्कृति का रक्षक क्यों कहा जाए ? तो […]

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स्वर्णिम इतिहास

जब सारा विश्व 10,000 जानता था तब भारत ने अनंत को खोज लिया था

संस्कृत का एकं हिन्दी में एक हुआ,अरबी व ग्रीक में बदल कर ‘वन‘ हुआ। शून्य अरबी में सिफर हुआ,ग्रीक में जीफर और अंग्रेजी में जीरो हो गया। इस प्रकार भारतीय अंक दुनिया में छाये। अंक गणित- अंकों का क्रम से विवेचन यजुर्वेद में मिलता है – “सविता प्रथमेऽहन्नग्नि र्द्वितीये वायुस्तृतीयऽआदिचतुर्थे चन्द्रमा: पञ्चमऽऋतु:षष्ठे मरूत: सप्तमे बृहस्पतिरष्टमे। […]

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इतिहास के पन्नों से स्वर्णिम इतिहास

महाराज यशवंतराव होलकर जिन्होंने अंग्रेजों को नाकों चने चबा दिए थे

एक ऐसा भारतीय शासक जिसने अकेले दम पर ब्रिटिश हुकूमत को नाकों चने चबाने पर मजबूर कर दिया था। इकलौता ऐसा शासक, जिसका खौफ अंग्रेजी सेना में साफ-साफ दिखता था। एकमात्र ऐसा शासक जिसके साथ ब्रिटिश सेनापति हर हाल में बिना शर्त समझौता करने को तैयार थे। एक ऐसा शासक, जिसे अपनों ने ही बार-बार […]

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कहानी स्वर्णिम इतिहास

इतिहास पुनर्लेखन के यक्ष प्रश्न?

‘दैनिक ट्रिब्यून’ में मेरी पुस्तक ‘भारत के स्वर्णिम इतिहास के कुछ पृष्ठ’ – की समीक्षा. शक्ति वर्मा ‘भारत के स्वर्णिम इतिहास के कुछ पृष्ठ’ पुस्तक इतिहास के पुनर्लेखन की एक कोशिश के रूप में प्रस्तुत की गई है। भारत में एक वर्ग है जो मानता है कि देश के इतिहास के साथ न्याय नहीं किया […]

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इतिहास के पन्नों से स्वर्णिम इतिहास

अकबर को जब वीर हिंदू रमणी किरण देवी ने सिखाया था सबक

  डॉ विवेक आर्य अकबर घोर विलासी, अय्याश बादशाह था। वह एक ओर हिन्दुओं को मायाजाल में फंसाने के लिए “दीने इलाही” के नाम पर माथे पर तिलक लगाकर अपने को सहिष्णु दिखाता था, दूसरी ओर सुन्दर हिन्दू युवतियों को अपनी यौनेच्छा का शिकार बनाने की जुगत में रहता था। दिल्ली में वह “मीना बाजार” […]

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इतिहास के पन्नों से स्वर्णिम इतिहास

कश्मीर की महारानी दिद्दा जिसका इतिहास पुस्तकों में नहीं मिलेगा

वामपंथ के इतिहास में रज़िया सुल्तान को छोड़कर और कोई रानी हुई ही नहीं भारतवर्ष में कुल 35,000 ऐसी रानियाँ हैं जिन्होंने मंगोल , मुग़ल , अश्शूर , तुर्क , यवन , हून इत्यादि क्रूर आक्रमणकारियों को परास्त की थी एवं ऐसे और रानी हुए जिन्होंने भारत से लेकर यूरोप , एशिया , इत्यादि अन्य […]

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इतिहास के पन्नों से स्वर्णिम इतिहास

विश्व की पहली साम्राज्ञी महारानी नागनिका सातकर्णि

आज एक महिला शासक (सम्राज्ञी) के बारे में जानिये- विश्व की पहली सम्राज्ञी सातकर्णी सम्राज्य की महारानी नागनिका सातकर्णि जैसा कि आप सबको समझ आ गया होगा कि भारत के बिके हुवे कम्युनिस्ट इतिहासकारो ने सनातनी इतिहास मिटाने के लिए कोई कसर नही छोड़ी। इस्लामियों के महिमा मंडन में इन्होंने एक काला झूठ रजिया सुल्तान […]

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इतिहास के पन्नों से स्वर्णिम इतिहास

आदि शंकराचार्य के शिष्य विश्व विजेता सम्राट सुधन्वा चौहान

मनीषा सिंह कुछ समय पहले मैंने जब ये पोस्ट सोशल मिडिया पर डाला था तब उसके कुछ दिनों बाद कई जगह मैंने देखा कि कुछ लोग इसे मनगढ़ंत आदि कह रहे थे। हालांकि पोस्ट में यथासंभव संदर्भ दिये गये थे फिर भी एक अन्य पोस्ट द्वारा मैंने उनका उत्तर देने का प्रयास किया था। ये […]

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