मिथिलेश कुमार सिंह एनडीपीएस एक्ट 1985 के तहत इसकी स्थापना हुई थी। जाहिर तौर पर किसी भी नशीले पदार्थ की रोकथाम के लिए ही इसे बनाया गया है। वह चाहे नशे का उत्पादन हो, उसका स्टोरेज हो, उसकी बिक्री हो या फिर नशीले पदार्थ का ट्रांसपोर्ट करना हो, यह एक्ट हर तरह के नशे से […]
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लेखक :- डॉ. ओमप्रकाश पांडे (लेखक अंतरिक्ष विज्ञानी हैं) श्राद्ध कर्म श्रद्धा का विषय है। यह पितरों के प्रति हमारी श्रद्धा प्रकट करने का माध्यम है। श्राद्ध आत्मा के गमन जिसे संस्कृत में प्रैति कहते हैं, से जुड़ा हुआ है। प्रैति ही बाद में बोलचाल में प्रेत बन गया। यह कोई भूत-प्रेत वाली बात नहीं […]
आर्य समाज एक क्रन्तिकारी आन्दोलन है जिसका मुख्य उद्देश्य समाज में फैले विभिन्न-प्रकार के पाखंड, मत-मतान्तर,जाति-पाती, अनेक-प्रकार के सम्प्रदायो ,मूर्ति-पूजा,आदि अन्धविश्वास को दूर करने वाला एक विश्वव्यापी आन्दोलन है इसके प्रवर्तक भगवतपात महर्षि देव दयानन्द सरस्वती है ! आर्यसमाज के बारे में भ्रान्तिया: 1 .आर्यसमाजी ईश्वर को नहीं मानते? उत्तर:- गलत। आर्य समाजी ही ईश्वरवादी […]
दो महान देशभक्तों की कहानी और दो बडे़ गद्दारों की भी। जनता को नहीं पता है कि भगत सिंह के खिलाफ गवाही देने वाले वे दो व्यक्ति कौन थे, जब दिल्ली में भगत सिंह पर अंग्रेजों की अदालत में, असेंबली में बम फेंकने का मुकद्दमा चला तो… 👉 भगत सिंह और उनके साथी बटुकेश्वर दत्त […]
_____________________________ सनातन वैदिक संस्कृति का इतिहास नदियों के इतिहास वर्णन के बगैर अधूरा है| नदियों का विकास ही भारत का विकास है जब नदियां सदानीरा समृद्ध गंदगी अतिक्रमण से मुक्त थी तभी भारत समृद्ध था| रामायण महाभारत जैसे ऐतिहासिक महाकाव्य नैतिक शिक्षाप्रद ग्रंथों में सैकड़ों नदियों का नाम सहित अनेक प्रसंगों में उल्लेख आता है| […]
मिथिलेश कुमार सिंह आपके पास सबसे पहले कंपनी का नाम होना चाहिए और इसके अलावा एड्रेस प्रूफ आवश्यक है, जिसमें इलेक्ट्रिसिटी बिल, टेक्स अथवा गैस बिल, फोन बिल दिया जा सकता है। साथ ही पार्टनर की आईडी, जिसमें आधार कार्ड, वोटर आईडी कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस इत्यादि गिनाए जा सकता हैं। वर्तमान समय में यह जितना […]
हिमालय में स्थित यह एक छोटी सी जगह है जिसे शांग्री-ला, शंभाला और सिद्धआश्रम के नाम से भी जाना जाता है। ज्ञानगंज मठ में केवल सिद्ध महात्माओं को स्थान मिलता है। इस जगह के बारे में ऐसा कहा जाता है कि यहां रहने वाले हर किसी का भाग्य पहले से ही निश्चित होता है और […]
स्व हरवंशलाल ओबेरॉय (अनेक प्राच्य भारतीय विद्याओं के अधिकृत जानकार, अंतर्राष्ट्रीय ख्यातिप्राप्त विद्वान) रूस आर्यों की पश्चिम यात्रा का यूरोप में प्रथम पड़ाव है। मनु के जल प्लावन के समय जब भारत, अरब ईरान का अधिकांश भाग, मध्यपूर्व के देश आदि जलमग्न हो गए थे तब आर्यों की पश्चिमोन्मुखी शाखा को, जहाँ काकेशस पर्वत की […]
गुंजन अग्रवाल महाभारत का युद्ध कब हुआ? इस यक्ष-प्रश्न का उत्तर ढूँढ़ लेने पर भारतीय इतिहास की बहुत सारी काल-सम्बन्धी गुत्थियाँ सुलझ सकती हैं। विगत दो शताब्दियों में अनेक देशी-विदेशी इतिहासकारों ने महाभारत-युद्ध की तिथि निर्धारित करने और उसके आधार पर समूचे इतिहास को व्यवस्थित करने का प्रयास किया है। पाश्चात्य इतिहासकारों ने तो भारतीय […]
क्या है इतिहास की सही परिभाषा
क्या है इतिहास की सही परिभाषा इतिहास की भारतीय विद्वानों के अनुसार परिभाषा कुछ इस प्रकार स्थापित की जा सकती है :— ” इतिहास धर्म का रक्षक है , संस्कृति का पोषक है , मानवता का उद्धारक है, समाज का मार्गदर्शक है , राष्ट्र का उन्नायक है और अतीत में हुई दुर्घटनाओं से शिक्षा लेकर […]