श्रद्घा और विश्वास जगे जबओ३म् ध्यान में चित्त लगे तबओ३म् ध्यान का लाभ समाधिहों सब दूर दुरिन्त अरू व्याधि ।। 67 ।। निर्मल करके मन का दर्पणओ३म् पिता को करो समर्पणवो प्रभु अनुकंपा का भागीओ३म् नाम का जो अनुरागी ।। 68 ।। ओ३म् रसों में सर्वोत्तम रसपान करने इसका तज आलसओ३म् सुधा रस पान करें […]