आध्यात्म रहित होने के कारण, झुलसा निज आमर्ष में। थे सात प्रकार के यान यहां, जो बारूद तेल से चलते थे। चुंबक शक्ति, हीरे, पारे, रवि किरणों से भी चलते थे। हम अंतरिक्ष में उड़ते थे, पहुंचे थे लोक लोकांतर में। था भूतल का नही कोना शेष, जहां पहुंचे न अल्पांतर में। परमाणु बम की […]
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