एक बार देवी-देवता ऋषि-मुनि एवं ऋतुओं में वाद-विवाद होने लगा। आपस में सभी एक दूसरे से अपने को बड़ा एवं महान मानते थे। आपस में निर्णय न होने पर वेद भगवान के न्यायालय में सभी उपस्थित हुए। अपनी अपनी प्रतिष्ठा के अभिलाषी देवतादि भगवान वेद के न्याय की प्रतीक्षा करने लगे। भगवान वेद के आदेश […]
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गौ गंगा और गायत्री की, महिमा जिनने जानीसमझो सफल है उनकी, यह पावन जिंदगानी माँ सम दे वात्सल्य गाय, अरु देय सुधा सम नीरजो सेवन नित इसका करे, होय विविध बहु वीर सकल सिद्धि दाता गौ-माता, वेदन यही बखानीतुलसी व्यास कबीर सूर, सबकी ये अमृत वानी भला माँ गंगे की महिमा, सकें कौन कवि गायजग […]