मेरा अनुभव है कि सरकार बदलने के साथ ही बहुत सारी बातें अनायास ही बदल जाती हैं या अमल में आती हैं.नयी नीतियाँ,नये नियम,नये आदेश,नये लोग,और नयी समझ का आगाज़ होता है.यह एक स्वाभाविक प्रक्रिया है क्योंकि “तिल तिल नूतन होय”—वाला आप्त-वचन प्रकृति और राजनीति दोनों पर लागू होता है.पिछले दिनों मेरे एक मित्र आग […]
Month: January 2023
भारत में दलित कौन है ?
दलित कौन? दलित अंग्रेज़ी शब्द डिप्रेस्ड क्लास का हिन्दी अनुवाद है। ये शब्द हमारे किसी धर्म ग्रथ या इतिहास में नही मिलता है।भारत में वर्तमान समय में ‘दलित’ शब्द कुछ विशेष वर्ग के साथ जोड़ दिया है जिसको गरीबी और अशिक्षा के कारण लम्बे अरसे तक शोषण-उत्पीडन का शिकार खेलना पड़ा। दरअसल दलित शब्द का […]
नोटबंदीः मोदी को माफी क्यों मिली?
* डॉ. वेदप्रताप वैदिक नोटबंदी 2016 के नवंबर माह में लागू हुई थी। उसके खिलाफ जो याचिकाएँ सर्वोच्च न्यायालय में लगी थीं, वे सब रद्द हो गई हैं, क्योंकि पाँच जजों में से चार ने फैसला दिया है कि नोटबंदी घोषित करने में मोदी सरकार ने किसी नियम या कानून का उल्लंघन नहीं किया था। […]
प्रकृति की नब्ज बताती भारतीय कालगणना
लेखक – डॉ राम अचल (लेखक आयुर्वेद चिकित्सक तथा विश्व आयुर्वेद काँग्रेस के सदस्य हैं) नववर्ष कालगणना का वार्षिक शुभारम्भ होता है, पूरी दुनिया में 96 तरह की कालगणना प्रचलित है, केवल भारत में ही 36 प्रकार की कालगणना रही है, जिसमें 24 पद्धतियाँ अब विलुप्त हो चुकी है परन्तु 12 कालगणना विधियाँ आज भी […]
खिलजी वंश भारत में खिलजी वंश की स्थापना जलालुद्दीन खिलजी द्वारा 1290 ई0 में की गई थी। इसको मारकर अलाउद्दीन खिलजी 1296 में गद्दी पर बैठ गया था। ज्ञात रहे कि जलालुद्दीन खिलजी अलाउद्दीन खिलजी का सगा चाचा और ससुर था । इसके उपरांत भी निर्दयता से अपने चाचा और ससुर की हत्या कर वह […]
नई दिल्ली । जनवरी 4, 2023। अवैध धर्मांतरण व चंगाई सभाओं से देश में, विशेषकर अनुसूचित समाज में, तनाव बढ़ रहा है इसलिए, यह सुनिश्चित करना आवश्यक है कि देश में लालच, धोखे या भय से धर्मांतरण ना हो। विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय महामंत्री श्री मिलिंद परांडे ने आज एक प्रेस वक्तव्य जारी कर […]
आचार्य डा.राधे श्याम द्विवेदी सप्त नगरी में गणना :- अयोध्या हिन्दुओं के प्राचीन और सात पवित्र स्थानों में से एक है।हिन्दू धर्म में मोक्ष पाने को बेहद महत्व दिया जाता है। हिन्दू पुराणों के अनुसार सात ऐसी पुरियों का निर्माण किया गया है, जहां इंसान को मुक्ति प्राप्त होती है। मोक्ष यानी कि मुक्ति, इंसान […]
ललित गर्ग- जैन समाज के सर्वोच्च तीर्थ सम्मेद शिखर को लेकर देशभर में गुस्सा और आक्रोश का उबरना झारखंड सरकार की दूषित नीति को दर्शा रहा है। गिरिडीह जिले में स्थित पारसनाथ पहाड़ी को पर्यटन केन्द्र घोषित किया जाना, जैन समाज की आस्था एवं भक्ति से खिलवाड़ है, उनकी धार्मिक भावनाओं को आहत करना है। […]
ललित गर्ग लोककल्याणकारी शासन-व्यवस्था की ओर बढ़ते हुए ऐसी भी योजनाएं लागू करनी चाहिए जिससे किसी भी नागरिक को मुफ्त अनाज के विवश न होना पड़े। वह सक्षम बने अपने भरण-पोषण के लिये। हर व्यक्ति को काम मिले, ऐसी योजना पर गंभीरता से कदम बढ़ाये जाने चाहिए। आजादी के अमृत महोत्सव मना चुके मुल्क में, […]
स्वामी दयानंद जी महाराज द्वारा रचित अमर ग्रन्थ सत्यार्थ प्रकाश का सबसे अधिक प्रचार आर्यसमाज से सम्बन्ध रखने वाले सदस्यों की अपेक्षा आर्यसमाज से सम्बन्ध न रखने वाले जनमानस ने अधिक किया हैं चाहे वह सनातन धर्म,सिख ,कबीर पंथी,जैन, बौद्ध,सिख, ईसाई, इस्लाम आदि किसी भी मत से क्यूँ न सम्बंधित हो। सत्यार्थ प्रकाश के खंडन […]