जे. पी. शुक्ला छत्तीसगढ़ के पशुपालकों को लाभ पहुंचाने के लिए छत्तीसगढ़ में गोधन न्याय योजना चलाई जा रही है। मुख्यमंत्री गोधन न्याय योजना के तहत राज्य सरकार पशुपालन करने वाले किसानों से गाय का गोबर खरीदेगी। हमारे देश में ज़रूरतमंद लोगों को सुविधाएं मुहैया कराने के लिए भारत सरकार उनकी मदद के लिए तरह-तरह […]
Month: October 2022
प्रह्लाद सबनानी पयर्टन क्षेत्र के तेजी से उबरते ही बढ़ने लग गये हैं रोजगार के अवसर अभी हाल ही में जारी की गई सीधी नियुक्ति मंच हायरेक्ट की ‘जॉब इंडेक्स रिपोर्ट’ के अनुसार, जून 2022 से अगस्त 2022 के तीन महीनों के दौरान टूर एंड ट्रेवल उद्योग में नए रोजगार के अवसरों में जोरदार तेजी […]
आचार्य श्री विष्णुगुप्त दुनिया का सबसे प्राचीन सनातन धर्म आज विनाश के कगार पर क्यों पहुंच गया है? अपने ही देश में भगाये, लतियाये और मारे क्यों जा रहे हैं हिन्दू?, अपने ही देश में सिर तन से जुआ क्यों कर दिये जा रहे हैं हिन्दू? इन प्रश्नों को समझने के लिए अभी-अभी मौत को […]
जयंती विशेषः नैतिकता की मिसाल थे लाल बहादुर शास्त्री श्वेता गोयल स्वतंत्रता संग्राम के दौरान 1940 के दशक में लाला लाजपत राय की संस्था ‘सर्वेंट्स ऑफ इंडिया सोसायटी’ द्वारा गरीब पृष्ठभूमि वाले स्वतंत्रता सेनानियों के परिवारों को जीवनयापन हेतु आर्थिक मदद दी जाया करती थी। उसी समय की बात है, जब लाल बहादुर शास्त्री जेल […]
अध्यक्ष की बजाय कांग्रेस को चाहिए मैनेजर
वेदप्रताप वैदिक राजस्थान के कांग्रेसी विधायकों ने जो कुछ किया है, मुझे याद नहीं पड़ता कि भारत के किसी भी राजनीतिक दल में कभी इस तरह की बगावत हुई है। इसे आप बगावत कह सकते हैं, लेकिन वास्तव में यह भारत के राजनीतिक दलों में आंतरिक लोकतंत्र का शंखनाद है। भारत के लगभग सभी राजनीतिक […]
ज्ञान, दर्शन और प्रवेश श्री कृष्ण बोले – मैं अर्जुन, लोकों को कर सकता हूँ क्षय। मैं वही काल हूँ – जिस पर ना पा सकता कोई विजय ।। जितने योद्धागण यहाँ खड़े हुए ये कभी नहीं बच सकते। ये सारे मिलकर कभी नहीं सामना मेरा कर सकते ।। जिसको शक्ति है सुख देने की, […]
आदिवासी समाज और ईसाइयत
#डॉ_विवेक_आर्य भारत जैसे बड़े देश में करोड़ों लोग वन क्षेत्र में सदियों से निवास करते है। कुछ लोग उन्हें आदिवासी कहते है क्योंकि उनका मानना है कि आदिकाल में सबसे प्रथम जनजाति इन्हीं के समान थी। कालांतर में लोग विकसित होकर शहरों में बसते गए जबकि आदिवासी वैसे के वैसे ही रहे। हम इसे भ्रान्ति […]
*गांधी के कुटिल राष्ट्र घातक चिंतन कुविचारो का सर्वप्रथम वैचारिक बौद्धिक वध भगत सिंह ने ही किया*। ___________________________________________ आर्य सागर खारी✍✍✍✍ मोहनदास करमचंद गांधी हाड मास का पुतला ही नहीं जैसा भौतिक विज्ञानी अल्बर्ट आइंस्टाइन ने उनके विषय में कहा था। गांधी अनेक दुर्गुण दोषो का भी पुतला थे। गांधी को परनिंदा करने में बहुत […]
अथर्ववेद पारायण यज्ञ के चौथे सत्र में उपस्थित धर्म प्रेमी सज्जनों को संबोधित करते हुए भारत समाचार पत्र के चेयरमैन और मुख्य यजमान रहे देवेंद्र सिंह आर्य ने कहा कि मनुष्य को उसके शुभ कर्म ही मोक्ष खिलाते हैं। शुभ कर्मों से ही जीवन महान बनता है उन्होंने कहा कि यज्ञ के बारे में हमारे […]
ओ३म् ========== आर्यसमाज के प्रसिद्ध पुरोहित पं. वेदवसु शास्त्री जी ने कहा कि जिसकी कीर्ति होती है वह अपनी मृत्यु के बाद भी हजारों वर्ष तक जीवित रहता है। पं. वेदवसु शास्त्री आज देहरादून में शीर्ष वैदिक विद्वान श्री वीरेन्द्र राजपूत जी की धर्मपत्नी माता सुशीला देवी जी की श्रद्धांजलि सभा में बोल रहे थे। […]