अरुण कुमार सिंह दिल्ली के महरौली स्थित वह गुम्बदनुमा मकान, जो मनमोहन मलिक को 1947-48 में आवंटित किया गया था। अब वक्फ बोर्ड कह रहा है कि यह उसकी संपत्ति है। इस कारण मकान बंद पड़ा है हाल ही में सर्वोच्च न्यायालय ने एक याचिका का निपटारा करते हुए कहा है कि बिना प्रमाण किसी […]
Author: उगता भारत ब्यूरो
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राजद्रोह कानून और अनसुलझे सवाल
हितेश शंकर “राजद्रोह कानून के मामले पर एक बार फिर चर्चा गर्म है। केन्द्र सरकार ने सर्वोच्च न्यायालय से कहा है कि वह वर्तमान राजद्रोह कानून की समीक्षा के लिए तैयार है।” राजद्रोह कानून के मामले पर एक बार फिर चर्चा गर्म है। केन्द्र सरकार ने सर्वोच्च न्यायालय से कहा है कि वह वर्तमान राजद्रोह […]
सिद्धार्थ ताबिश की फेसबुक वॉल से “मेरा संबोधन सारी कौम या समूची जाति के लिए नहीं होता। जो भी इस तरह के बयान से ‘सहमति’ रखते हैं, मेरे सवाल, घृणा या कटाक्ष सिर्फ उन्हीं के लिए होते हैं, न कि ‘मजहब’ को मानने वाले समूचे लोगों के लिए।” मेरी पोस्ट किसी व्यक्ति द्वारा दिए गए विवादित […]
उगता भारत ब्यूरो वह तिथि थी दो जुलाई, 1911. बेड़ियों में जकड़े स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर को पोर्ट ब्लेयर के बंदरगाह पर उतारा गया। लगभग 15 मिनट तक बेड़ियों, हथकड़ियों की खड़ताल पर चलते-चलते सावरकर उस भीमकाय और भयावह दुर्ग-रूपी कारागार के प्रवेश द्वार पर पहुंचे। सात खंडों और तीन मंजिलों में विभक्त इस दानवीय […]
पूनम नेगी (बुद्ध पूर्णिमा पर विशेष) महात्मा बुद्ध की सरल, व्यावहारिक और मन को छू लेने वाली शिक्षाएं संशय से समाधान की ओर ले जाती हैं। बुद्ध का दर्शन किसी का अंध अनुगामी होना स्वीकार नहीं करता है। वह कहता है –‘’अप्प दीपो भव!’’ अर्थात अपना दीपक आप बनो। तुम्हें किसी बाहरी प्रकाश की आवश्यकता […]
*राष्ट्र-चिंतन* *आचार्य श्री विष्णुगुप्त* ==================== मुस्लिम आतंकवादियों की टारगेटेड हत्या का नया शिकार राहुल भट्ट हुए हैं। माखनलाल विंद्रु से लेकर राहुल भट्ट तक, कई हिन्दू टारगेटेड हिंसा का शिकार होकर अपनी जानें गंवायी है। इसके अलावा कई प्रवासी मजदूर भी टारगेटेड हिंसा में अपनी जानें गंवायी है। आगे भी टारगेटेड हिंसा में कश्मीरी हिन्दू […]
कुतुबमीनार : एक रहस्योद्घाटन लेखक – आचार्य विरजानन्द दैवकरणि निदेशक – पुरातत्व संग्रहालय गुरुकुल झज्जर प्रस्तुति – अमित सिवाहा किसी भी देश और जाति में सभ्यता के विकास , संस्कृति की स्थिरता एवं स्थापत्यकला की उन्नति और समृद्धि के लिये सुख – शान्ति का होना नितान्त आवश्यक है । भारत में जब से विदेशी आक्रान्ताओं […]
* =================== *प्रस्तुतकर्ता :आचार्य श्री विष्णुगुप्त* ==================== एक बार पुस्तक मेले में किसी दावती से मजहबी चर्चा हो रही थी। बातचीत में उसने कहा कि आप हिंदुओं ने ईश्वर के तसव्वुर को बिगाड़ कर रख दिया है। मैनें पूछा, कैसे तो कहने लगे, जब वेदों ने एक सर्वशक्तिमान परमात्मा की बात कही तो क्यों आपलोगों […]
श्रीश देवपुजारी ६२२ ईस्वी से लेकर ६३४ ईस्वी तक मात्र १२ वर्षों में अरब के सभी मूर्तिपूजकों को मुहम्मद साहब ने इस्लाम की तलवार से पानी पिलाकर मुसलमान बना दिया। ६३४ ईस्वी से लेकर ६५१ तक, यानी मात्र १६ वर्षों में सभी पारसियों को तलवार की नोक पर इस्लाम की दीक्षा दी गयी। ६४० में […]
उगता भारत ब्यूरो शहीद फारसी का शब्द है। किसी ऊॅंचे सच्चे उद्देश्य, आदर्श, अधिकार, सत्य परायणता, धर्म या धर्म युद्ध आदि के लिए अपना जीवन कुर्बान कर देने वाले को शहीद कहते है। इतिहास गवाह है कि आध्यात्मिक सत्य की स्थापना के लिए ईसा ने बलिदान दिया। सामाजिक संतोष के लिए पैरिस कमियों ने जीवन […]