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विविधा

रतन टाटा से जब पूछा गया कि तुम्हें सबसे अधिक खुशी कब मिली, तो उन्होंने क्या कहा ?

रतनजी टाटा: Last TA-TA 🙏एवं अंतिम दर्शन 💐🌹🌸🌺🙏 मैं आपका चेहरा याद रखना चाहता हूं ताकि जब मैं आपसे स्वर्ग में मिलूं, तो मैं आपको पहचान सकूं और एक बार फिर आपका धन्यवाद कर सकूं।” जब एक टेलीफोन साक्षात्कार में भारतीय अरबपति रतनजी टाटा से रेडियो प्रस्तोता ने पूछा: “सर आपको क्या याद है कि […]

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देश विदेश

अरब में बाहरी मुसलमानों को नो एंट्री*

=================== आचार्य विष्णु श्रीहरि संयुक्त अरब अमीरात में पाकिस्तान मुसलमानों का वीजा नहीं मिलने पर पाकिस्तान राजदूत फैसल नियाज का विचार जान कर आप हैरान हो सकते हैं। फैसल नियाज का कहना है कि संयुक्त अरब अमीरात ही नहीं बल्कि पूरा अरब जगत में पाकिस्तानी मुसलमानों को लेकर धारणा बहुत ही विस्फोटक और नकारात्मक है […]

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भारतीय संस्कृति

महादेव शिव मंदिर पतिजिया बुजुर्ग,दरियापुर, छपिया

फोटो प्रतीकात्मक आचार्य डॉ. राधेश्याम द्विवेदी छपिया रेलवे स्टेशन से पूरब पतिजिया बुजुर्ग नामक गांव स्थित है। यहां शंकर जी एक महत्त्व पूर्ण प्रसादी वाला मंदिर बना हुआ है। यहां धर्मपिता सपरिवार घनश्याम महाराज के साथ आते थे। उसी समय एक बार मंदिर के शिव लिंग से भोले नाथ प्रकट होकर घनश्याम महाराज से मिले […]

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विविधा

शाकाहार और मांसाहार का एक तुलनात्मक अध्ययन

शाकाहार और मांसाहार 1. एथलीट्स को मजबूत होने के लिये मीट खाने की जरूरत होती है।” सुशील कुमार ( ओलंपिक पदक विजेता} शाकाहारी है। मांसाहारी देश जैसे पाकिस्तान, बांग्लादेश, सोमालिया, सऊदी अर्ब, ईरान, ईराक आदि ओलंपिक सूची मे कहाँ हैं? अमेरिका चीन के खिलाड़ियों के गोल्ड मैडल जीतने के कारण अलग हैं। 2. “अकेले मेरे […]

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पर्व – त्यौहार

दशहरे पर मूक पशु भैंसों की हत्या रोकने का महर्षि दयानन्द का प्रयास

स्वामी दयानन्द जी सितम्बर, 1882 में मेवाड़ उदयपुर के महाराजा महाराणा सज्जन सिंह के अतिथि थे। नवरात्र के अवसर पर वहां भैंसों का वध रोकने की एक घटना घटी। स्वामी जी मूक पशुओं के वकील बने—जब विजयादशमी पर्व आया तो स्वामी जी बग्घी पर बैठकर दशहरा देखने गये तो नवरात्र पर्व पर बलि के लिए […]

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भारतीय संस्कृति

स्वामी नारायण छपिया के पूर्वज सती जीवराणी देवी की समाधि (छतरी)

आचार्य डॉ. राधेश्याम द्विवेदी छतरी का आशय छतरी का आशय मृत्यु-स्मारक/समाधि से होता है । यह मुख्यतः दो प्रकार की होती है- एक छोटे आकार की छतरी और दूसरा उससे थोड़ी विशाल और एक श्रेणी ऊपर देवल या मंदिर के रुप आकर की संरचना। देवल अति-महत्वपूर्ण व्यक्तियों योद्धाओं और लोक-देवी – देवताओं की स्मृति में […]

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आज का चिंतन

वायु और विद्युत की भौतिक संसार में क्या भूमिका है?

वायु और विद्युत की आध्यात्मिक पथ पर क्या भूमिका है? सर्वोच्च चेतना तक पहुँचने में हमारे श्वास, हमारे मेरूदण्ड और ज्ञान के प्रकाश की क्या भूमिका है? ईशानकृृतो धुनयो रिशादसो वातान्विद्युतस्तविषीभिरक्रत। दुहन्त्यूधर्दिव्यानि धूतयो भूमिं पिन्वन्ति पयसा परिज्रयः ।। ऋग्वेद मन्त्र 1.64.5 (कुल मन्त्र 737) (ईशानकृृतः) सुख-सुविधाओं को उपलब्ध कराने वाले (धुनयः) कंपित करते हैं (रिशादसः) […]

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आज का चिंतन

*मंत्र साधना –कष्ट निवारक या कुछ और? भ्रान्ति निवारण*

डॉ डी के गर्ग निवेदन =अपने विचार बताये ,शेयर करे और अंधविस्वास से दूर रहने का संकल्प ले। पौराणिक मान्यता :–मंत्र साधना क्या है ?मं‍त्र से किसी देवी या देवता को साधा जाता है। मंत्र का अर्थ है मन को एक तंत्र में लाना। मन जब मंत्र के अधीन हो जाता है तब वह सिद्ध […]

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इतिहास के पन्नों से

जब नोआखाली की आग फैल गई थी बिहार तक

– इस लेख में नोआखली दंगे की बात आई है तो आपके मन में ज़रूर सवाल उठ रहा होगा कि वहाँ क्या हुआ था। आज ये जगह बांग्लादेश में है, लेकिन अक्टूबर 1946 में यहीं पर हिन्दुओं का भयंकर कत्लेआम किया गया था। इसे भारत के विभाजन के लिए हुई हिन्दू विरोधी हिंसा की शुरुआत […]

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इतिहास के पन्नों से

हरियाणा की पवित्र धर्म भूमि और आर्य समाज का प्रचार कार्य

हरियाणा में आर्यसमाज के प्रचारक वर्तमान समय में हरयाणा भारत का एक पृथक राज्य है पर नवम्बर १९६६ तक वह पंजाब के अन्तर्गत था। उस समय उसकी आर्य प्रतिनिधि सभा भी पृथक् नहीं थी। शासन की दृष्टि से हरयाणा के पृथक् राज्य बन जाने के पश्चात् भी सन् १९७५ तक वहाँ के आर्यसमाज आर्य प्रतिनिधि […]

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