( भारत के अभिजनों के लिए ही है यह लेखमाला यानी सचमुच अभिजन मानते हों जो स्वयं को और भारतीय हों उनके लिए है । आम आदमी , फलां दल के समर्थक आदि के लिए यह व्यर्थ और अनुपयोगी है. यह अति विशेष लोगों के लिए है । कृपया टिप्पणी करने का अधिकार तभी मानें […]
Author: श्रीनिवास आर्य
प्रस्तुति : श्रीनिवास आर्य देश में कबीरपंथी आंदोलन देश की सनातन मूल्यों की रक्षा के लिए पिछले कई सौ वर्षों से कार्य कर रहा है। वर्तमान में इस आंदोलन के प्रमुख कर्णधारों में से एक हैं विश्व कबीर विचार मंच के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष संत मनमोहन साहिब , जो कि वर्तमान राजनीतिक परिदृश्य से भी अपने […]
प्रस्तुति – श्रीनिवास आर्य नीम के फायदे इतने अधिक हैं कि इसे धरती का कल्प वृक्ष भी कहा जाता है। एक आम कहावत है कि रात में पेड़ के नीचे सोना रोगों को आमंत्रण देना है, परन्तु यह बात नीम पर लागू नहीं होती। रात में जहाँ सभी पेड़ मनुष्यों के लिए नुकसानदेह कार्बन डाईआक्साइड […]
……………………….. 4 सितम्बर/जन्म-दिवस पर विशेष राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की योजना से कई प्रचारक शाखा कार्य के अतिरिक्त समाज जीवन के अन्य क्षेत्रों में भी काम करते हैं। ऐसा ही एक क्षेत्र वनवासियों का भी है। ईसाई मिशनरियां उन्हें आदिवासी कहकर शेष हिन्दू समाज से अलग कर देती हैं। उनके षड्यन्त्रों से कई क्षेत्रों में अलगाववादी […]
*केवल सांसारिक भोगों में ही जीवन का सर्वोच्च सुख नहीं है। वह तो आत्मा परमात्मा को जानने पर ही मिलता है।* संसार में लाखों योनियाँ हैं, जिनमें से केवल एक ही मनुष्य योनि विशेष सुविधाओं से युक्त है। शेष पशु पक्षी आदि योनियाँ तो प्रायः भोग योनियाँ हैं। उनमें कोई विशेष बुद्धि हाथ पैर कर्म […]
पटना । भारत हिंदू महासभा की बिहार की राजधानी पटना में चली राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में पार्टी के राष्ट्रीय कार्यालय मंत्री विपिन खुराना ने कहा कि 1947 के बाद से अखिल भारत हिंदू महासभा निरंतर मांग करती आई है कि देश में विघटनकारी तत्वों एवं शक्तियों को परास्त करने के लिए ऐसे कानून बनाए […]
पालमपुर, जेएनएन। पूर्व राष्ट्रपति और भारत रत्न प्रणब मुखर्जी को सभी राजनीतिक दलों के नेता सम्मान देते थे । उनकी विद्वता और राजनीतिक बौद्धिक कौशल को सभी लोग सम्मान देते थे। यही कारण है कि उनके जाने के बाद सभी दलों के राजनीतिज्ञ उन्हें अपनी भावपूर्ण श्रद्धांजलि देते हुए अनेकों संस्मरण भी सुना रहे हैं […]
इतिहास अमृत होता है। सतत विकासशील। जय-पराजय में समभाव। तथ्य-सत्य को ही अंगीकृत करता है। वह किसी के प्रभाव में नहीं आता, लेकिन सबको प्रभावित करता है। कालगति का तटस्थ दर्शक होता है, इसलिए इतिहासकारों को भी निष्पक्ष रहना चाहिए, लेकिन भारतीय इतिहास लेखन में अधिकांश इतिहासकारों ने स्वार्थवश मनमानी की है। कई महत्वपूर्ण घटनाओं […]
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का भारत में मोदी विरोधी चाहे जितना विरोध कर लें, लेकिन मोदी सिर्फ देश में ही नहीं विदेशों में भी खासे लोकप्रिय हैं। यहां तक कि पड़ोसी देश चीन में भी बड़ी संख्या में लोग उनके मुरीद हैं। विदेशों में लोकप्रिय होने का मतलब है भारत का सम्मान। लद्दाख हिंसा के तीन […]
‘बहुत पहले से उन कदमों की आहट जान लेते हैं, तुझे ऐ जिंदगी हम दूर से पहचान लेते हैं’…. मशहूर शायर रघुपति सहाय उर्फ फिराक गोरखपुरी की ये पंक्तियां उनकी संजीदगी और वक्त के तकाजे को परखने की क्षमता को बयां करती हैं। अपनी बेबाकी के लिए भी मशहूर फिराक ने यह रचना पं. जवाहर […]