1 . भारतीय क्षात्र धर्म और अहिंसा पुस्तक का मूल्य : 300 रुपए प्रकाशन : साहित्यागार जयपुर प्राप्ति हेतु संपर्क सूत्र: 0141- 40 22 382 , 2310 785 2 – भारतीय संस्कृति में साम्यवाद के मूल तत्व इस पुस्तक का मूल्य : 260 रुपये है। प्रकाशन : सनातन प्रकाशन जयपुर संपर्क सूत्र : 99 280 […]
लेखक: डॉ॰ राकेश कुमार आर्य
मुख्य संपादक, उगता भारत
युद्ध में सारथी की बड़ी महत्वपूर्ण भूमिका होती है । जहां युद्ध में योद्धा अपने प्रतिद्वंदी को मार गिराने की युक्तियां खोजता है, वहीं सारथी इस बात का भी ध्यान रखता है कि रथ को किस मोड़ पर खड़ा किया जाए ? कौन सी स्थिति ऐसी हो सकती है, जिससे मेरा महारथी अपने प्रतिद्वंद्वी पर […]
============= शहीद चन्द्रशेखर आजाद जी का जन्म २३ जुलाई १९०६ को तथा बलिदान २७ फरवरी १९३१ को हुआ था। वह भारतीय स्वतन्त्रता संग्राम के क्रान्तिकारी व स्वतंत्रता सेनानी थे। चन्द्रशेखर जी शहीद राम प्रसाद बिस्मिल व शहीद भगत सिंह के समान क्रान्तिकारियों के प्रमुख मित्रों व साथियों में से थे। सन् १९२२ में गाँधीजी द्वारा […]
मां भारती के पुजारी और सनातन के पुरोधा बन्दा बैरागी का जन्म 27 अक्तूबर, 1670 को पुंछ की पहाड़ी रियासत के राजोर गांव में एक राजपूत परिवार में हुआ था उनके पिता का नाम रामदेव था। उस समय दिल्ली का शासक मुगल बादशाह औरंगजेब था। जिसकी अत्याचारपूर्ण नीतियों से पूरा भारतवर्ष आतंकित था। इस निर्दयी […]
👉सैनिक कौन❓भारत के इसी समाज में पलकर 17- 20 साल की अल्हड़ उम्र में घर से निकला एक बच्चा, सख्त शारीरिक मानदंडों और अनुशासन के सांचे में ढलकर, भिन्न-भिन्न हथियारों का प्रशिक्षण पाकर, भारतीय सेना के लड़ाई के उचच् नियमो को पालन करने का जज़बा लेकर, जब देश की सीमाओं पर दुशमन से नज़र मिलाता […]
*आप तनिक कल्पना करें। एक नदी है। उस नदी के एक छोर पर एक विशाल टीला स्थित है। नदी बरसात की ऋतु में बार-बार उस टीले को काटने व मिटाने का प्रयास करती है। उसे एक चुनौती देती है और उसकी थोड़ी बहुत मिट्टी हर बार वर्षा ऋतु में अपने साथ बहाकर ले जाती है […]
यह बहुत ही विडंबनापूर्ण है कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने भी अब जातिगत जनगणना की मांग कर डाली है। संघ के बारे में अभी तक मान्यता थी कि यह हिंदू समाज में समरसता उत्पन्न करने की दिशा में ठोस कार्य करेगा और जिस प्रकार वर्तमान परिस्थितियों में देश के हिंदू समाज को तोड़ने की कोशिशें […]
भारत की ऐसी अनेकों नारियां हुई हैं जिन्होंने ज्ञान विज्ञान के क्षेत्र में अपने वे वैदुष्य का परचम लहराया है । इन्हीं में से एक महान विदुषी भारती थीं । जो कि उस काल के परम विद्वान मंडन मिश्र की पत्नी थीं ।आदि शंकराचार्य एक ऐसे महान व्यक्तित्व के धनी थे जिन्होंने अपने समय में […]
रामचंद्र जी ने आज युद्ध का मोर्चा स्वयं संभाला हुआ था। वह नहीं चाहते थे कि आज भी लक्ष्मण इधर-उधर से आकर युद्ध में अपनी अहम भूमिका का निर्वाह करते हुए रावण वध के लिए अपने आप को झोंक दे। वे छोटे भाई को एक शक्ति के रूप में बचा कर रखना चाहते थे। उन्हें […]
ईश्वर के विषय में यह माना जाता है कि वह सृष्टि के अणु-अणु में विद्यमान है और घट-घट वासी है। उसकी दृष्टि से कोई बच नहीं सकता। अत: वह मनुष्य के प्रत्येक विचार का और प्रत्येक कार्य का स्वयं साक्षी है। जिससे उसकी न्यायव्यवस्था से कोई बच नहीं पाएगा। घट-घट वासी होने से ईश्वर हमारे […]