(हिंदवी स्वराज्य के संस्थापक शिवाजी और उसके उत्ताधिकारी पुस्तक से ..) शिवाजी द्वितीय और महारानी ताराबाई – इससे पहले कि हम इस अध्याय के बारे में कुछ लिखें मैथिली शरण गुप्त की इन पंक्तियों रसास्वादन लेना उचित होगा- ‘हाँ! वृद्ध भारतवर्ष ही संसार का सिरमौर है। ऐसा पुरातन देश कोई विश्व में क्या और है? […]
Author: डॉ॰ राकेश कुमार आर्य
मुख्य संपादक, उगता भारत
बहता चल तू बहता चल,
गाता चल तू गाता चल, गीत ओज के गाता चल। राष्ट्र का यौवन मचल उठे, वही गीत निराला गाता चल।। चार दिनों की चांदनी होती, फिर रात अंधेरी आएगी। चांदनी रहते पौरुष दिखला, तभी कथा तेरी मचलाएगी।। कोठी – बंगले, हाथी- घोड़े, किसके साथ गए पगले । संसार की चिकनी फिसलन पर , बड़े – […]
यह चार अवस्था मानव की…
हंस भाव में जीता है जो, नर देह वही कहलाता है। ब्रह्मचर्य की यह अवस्था, जीवन सफल बन जाता है।। वसु – भाव में जीने वाला, वर देह का बनता अधिकारी। गृहस्थ आश्रम में रह मानव, तैयार करे जीवन क्यारी।। वानप्रस्थ का जीवन जिसका, उसने परहित में श्रृंगार किया। ‘ होता’ की कर प्राप्त अवस्था, […]
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव परिणामों ने केन्द्र की मोदी सरकार को नई ऊर्जा प्रदान की है। हरियाणा के बाद निरंतर दूसरे बड़े और एक महत्वपूर्ण राज्य में जिस प्रकार भाजपा नीत गठबंधन महायुति की सत्ता में फिर से वापसी हुई है , वह न केवल शानदार है बल्कि भाजपा के लिए जानदार भी है। लोकसभा चुनाव […]
वह कवि-कभी नहीं हो सकता
वह कवि-कभी नहीं हो सकता, जो नव पीढ़ी को भ्रष्ट करे। जो अधेड़ उम्र में जाकर भी, श्रृंगार – भोग में मस्त रहे।। हिंदी का होकर हिंदी से, जिसका मन करता द्रोह सदा। उर्दू की गजलें करता हो, वह कवि-कभी नहीं हो सकता।। उसको मैं कैसे कहूं कवि, जो अंग्रेजी पर मरता हो। परदेसी भाषा […]
मल्लिकार्जुन खड़गे बनाम भगवाधारी योगी
डॉ डेलोन नाम के एक फ्रेंच नागरिक को गोवा के पवित्र न्यायाधिकरण में 2 वर्ष कठोर कारावास का दंड भुगतना पड़ा था। इस दंड के लिए उनका अपराध केवल इतना था कि उन्होंने एक युवक से सेंट एंथोनी की मूर्ति बांह से हटाने के लिए कह दिया था, क्योंकि डॉ डेलोन को उस युवक की […]
रामस्वरूप रावतसरे केंद्रीय गृह मंत्रालय ने विदेशी योगदान विनियमन अधिनियम 2010 (एफसीआरए) के तहत पंजीकरण रद्द करने या नवीनीकरण से इनकार करने के कुछ कारणों को सूचीबद्ध कर एक नोटिस जारी किया है। इसमें ‘विकास विरोधी गतिविधियों, जबरन धर्मांतरण और देश विरोधी प्रदर्शन आदि में शामिल होने को बतौर कारण दर्ज किया गया है। इस […]
[हिन्दवी – स्वराज के संस्थापक शिवाजी और उनके उत्तराधिकारी पुस्तक से] हिंदवी स्वराज्य का संघर्ष और छत्रपति राजाराम महाराज (अध्याय -09) भाग – 2 द्वीप पर मुगल सेना का आक्रमण राजाराम महाराज अपनी ओर से पूर्ण सावधानी बरतते हुए यद्यपि तुंगभद्रा के तट तक पहुँच गए थे, परंतु शत्रु भी उनका पीछा करता आ रहा […]
अकवन का पौधा और उसके औषधीय गुण
#अकवन अकवन को हिंदी में मदार कहते हैं और इसे एक जहरीले पौधे के रूप में जाना जाता है। मदार का पौधा किसी जगह पर उगाया नहीं जाता है। यह पौधा अपने आप ही कहीं पर भी उग जाता है हालांकि यह पौधा अपने आप में औषधीय गुणों से लबरेज है। मदार का वैज्ञानिक नाम […]
[हिन्दवी – स्वराज के संस्थापक शिवाजी और उनके उत्तराधिकारी पुस्तक से] हिंदवी स्वराज्य का संघर्ष और छत्रपति राजाराम महाराज (अध्याय -09) छत्रपति संभाजी महाराज का जिस प्रकार मुगलों ने निर्दयता और क्रूरता के साथ वध कर दिया था, उसके परिणामस्वरूप मराठा साम्राज्य के सामने कई प्रकार के प्रश्न आ खड़े हुए थे। सर्वप्रथम स्वराज्य की […]