पुरातन काल के राष्ट्रों के आधुनिक नाम पूज्य महानंद जी , भगवन ! जिसको आपने अभी-अभी पातालपुरी कहा था वहां रावण पुत्र अहिरावण राज्य करते थे उसे आधुनिक काल में अमेरिका कहते हैं। और जिसको आपने सोमभूम नाम से पुकारा सोमकेतु राष्ट्र जो त्रेता काल में था उसे रूस कहते हैं। जिसको आपने इंद्रपुरी कहा […]
Author: डॉ॰ राकेश कुमार आर्य
मुख्य संपादक, उगता भारत
लेखक सुप्रसिद्ध इतिहासकार और भारत को समझो अभियान समिति के राष्ट्रीय प्रणेता है
पुरातन काल के राष्ट्रों के आधुनिक नाम पूज्य महानंद जी , भगवन ! जिसको आपने अभी-अभी पातालपुरी कहा था वहां रावण पुत्र अहिरावण राज्य करते थे उसे आधुनिक काल में अमेरिका कहते हैं। और जिसको आपने सोमभूम नाम से पुकारा सोमकेतु राष्ट्र जो त्रेता काल में था उसे रूस कहते हैं। जिसको आपने इंद्रपुरी कहा […]
भारत की पुण्य भूमि के विषय में अरबी कवि लवी बिन अख्तर बिन तुरफ़ा ईसा से 1700 – 1800 वर्ष पूर्व कहता है – “हे भारत की प्रशंसित धरती ! तुम सचमुच सम्मान की पात्र हो। क्योंकि परमात्मा ने सच्चे ज्ञान अर्थात वेदों का प्रकाश यहीं पर किया था । ईश्वरीय ज्ञान कही जाने वाली […]
मूल्य आधारित शिक्षा समय की आवश्यकता
राघवेन्द्र प्रसाद तिवारी सामाजिक सांस्कृतिक प्राणी के रूप में भारतीय मानस ने अपनी विकास यात्रा के अंतर्गत न केवल शारीरिक एवं जैविक विकास किया, अपितु बौद्धिक, सांवेगिक, सामाजिक, नैतिक और आध्यात्मिक क्षेत्रों में भी महत्वपूर्ण उपलब्धियां अर्जित कीं। सांस्कृतिक दृष्टि से उसने अपनी एक आदर्श जीवनशैली को विकसित किया, जिसमें परस्परता, सहिष्णुता, प्रकृति के साथ […]
पुस्तक का नाम : सांस्कृतिक राष्ट्रवाद के पुरोधा:भगवान श्रीराम लेखकीय निवेदन का शेष थाईलैंड का राज परिवार और श्री राम थाईलैंड के राज परिवार में आज तक भी लोग अपने नाम के साथ राम जोड़कर प्रसन्न होते हैं। वे समझते हैं कि जैसे श्रीराम ने दैवीय शक्तियों के माध्यम से शासन किया था […]
अंकित सिंह विजया राजे सिंधिया ने 1980 ने भाजपा की स्थापना में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इसके साथ ही उन्हें पार्टी का उपाध्यक्ष से बनाया गया। जब पार्टी ने राम जन्मभूमि आंदोलन में अपनी सक्रिय भूमिका निभाई तब विजया राजे सिंधिया ने भी इसको बखूबी आगे बढ़ाते रहीं। जनवरी 2001 में उनकी मृत्यु हो गई। जब […]
लेखकीय निवेदन भारत और भारतीय संस्कृति के विषय में कवि की कितनी सुंदर और सार्थक पंक्तियां हैं :— ज्ञान ही हमने दिया था ज्ञान का भंडार भारत। आज के इस विश्व का भी है अमर आधार भारत।। है अमित सामर्थ्य तुझ में मत किसी से याचना कर। अरे साधक साधना कर ! अरे साधक साधना […]
प्रभु कृपा और आप सब के आशीर्वाद से मेरी नई पुस्तक “सांस्कृतिक राष्ट्रवाद के पुरोधा : भगवान श्री राम” प्रकाशित होकर आ गई है। आशा है आपका आशीर्वाद अवश्य प्राप्त होगा। लेखकीय निवेदन श्री राम हमारे लिए एक ऐसा व्यक्तित्व है जिन्हें हम भारतवासियों ने बहुत समय से भगवान के रूप में माना और समझा […]
संसार में सफल व्यक्ति किसको कहा जाए ? यदि इस प्रश्न पर विचार किया जाए तो जिस व्यक्ति ने अपने जीवन को जीने के लिए जो उद्देश्य निर्धारित किया यदि वह व्यक्ति अपने उस निर्धारित उद्देश्य को पाने में सफल हुआ तो उसे निश्चय ही सफल माना जाना चाहिए। जीवन को सफल बनाने के लिए […]
राजकुमारियों ने बनाया खलीफा का मूर्ख दमिश्क पहुंचने पर जब दूत ने बोरे में बंद मोहम्मद बिन कासिम को खलीफा के दरबार में प्रस्तुत किया तो पता चला कि वह तो पता नहीं कब का दोजख की आग में जा चुका था। फिर भी खलीफा ने हिन्द की दोनों बेटियों को अपने दरबार में […]