इंशाअल्लाह मेरा इंडिया इस्लामिक राज्य हो जाएगा: एनएसयूआई महासचिव शौकत अली
आर.बी.एल.निगम, वरिष्ठ पत्रकार
एक तरफ मोदी सरकार देश में फैले कोरोना को निष्क्रिय करने दिन-रात जुटी हुई है, विपरीत इसके कांग्रेस और इसके संगठन देश में साम्प्रदायिकता फ़ैलाने में दिन-रात एक किए हुए हैं। पहले नागरिक संशोधक कानून के विरोध में कितना उपद्रव, फिर जमातियों द्वारा कोरोना वारियर्स पर थूकना और पत्थराव, जमातियों को मस्जिदों में छिपाना, लॉक डाउन में अर्थव्यवस्था के लिए मन्दिरों के सोने को सरकार द्वारा लेना, इनके समर्थक वामपंथियों द्वारा #not in my name, #award vapasi, #mob lynching और #intolerance आदि गैंगस्टरों द्वारा सौहार्द बिगाड़ने का प्रयत्न आदि।
कांग्रेस के छात्र संगठन NSUI से जुड़े शौकत अली शाहीन (Shokit Ali Shaheen) की हिन्दू फोबिक टिप्पणियाँ सोशल मीडिया पर सामने आई है। फेसबुक प्रोफाइल में उसने जम्मू-कश्मीर में NSUI का जिला महासचिव होने की बात कही है।
लेकिन जब कोई कपिल मिश्रा, अनुराग ठाकुर आदि द्वारा इन साम्प्रदायिकों को मुंह तोड़ जवाब देंगे, ये सांप्रदायिक तत्व देश का माहौल ख़राब करने के सारा दोष इन पर डाल, इन साम्प्रदायिकों के हिन्दू विरोधी बयानों पर पर्दा डाल दूध का धुला सिद्ध कर देंगे। जिसकी पूर्वी दिल्ली में हुए हिन्दू विरोधी दंगे में हुआ। केन्द्र और दिल्ली सरकार को ऐसे लोगों पर सख्ती से नकेल डाल सबक सिखाना चाहिए।
शाहीन द्वारा फेसबुक पर की गई हिन्दू-घृणा और मजहबी वर्चस्व से लिप्त टिप्पणियाँ कुछ इस प्रकार हैं
- ‘हिन्दू इस पृथ्वी पर एक आतंकवादी धर्म है’,
- ’57 इस्लामिक देश हैं और इस्लाम पूरी दुनिया में चमक रहा है…’
- ‘कुरान विज्ञान का मार्गदर्शक है…’
- ‘निरक्षर, गंदे, भद्दे हिन्दू ही हमारे भारत में धार्मिक प्रदूषण फैला रहे हैं…’
- ‘इंशाअल्लाह, मेरा इंडिया इस्लामिक राज्य हो जाएगा।’
- ‘गाय का गोबर और गोमूत्र पीने वाली कौम’
शुक्रवार (मई 15, 2020) को शौकत अली के इन हिन्दू विरोधी और भड़काऊ टिप्पणियों के स्क्रीनशॉट सोशल मीडिया पर वायरल हो गए।
फेसबुक प्रोफाइल के अनुसार, NSUI के इस कथित महासचिव ने अपने प्रोफाइल में जिक्र किया है कि वह पूँछ (जम्मू-कश्मीर) से है और उसने डिग्री कॉलेज राजौरी से पढ़ाई की है।
इसके अलावा, शौकत अली के एकाउंट से जानकारी मिलती है कि वह जवाहर नवोदय विद्यालय (जेएनवी) से भी पढ़ चुका है। शाहीन ने खुद को एक ‘वैज्ञानिक विचारक’ के रूप में वर्णित किया और लिखा है कि वह वर्तमान में दिल्ली में रह रहा है।
हालाँकि, हिन्दू विरोधी टिप्पणियों के स्क्रीनशॉट सोशल मीडिया पर वायरल होते ही उसने अपना पेज निष्क्रिय कर दिया। शायद, हिन्दू समुदाय के खिलाफ अभद्र टिप्पणी करने के बाद FIR की संभावना के कारण, शौकत ने तुरंत अपना फेसबुक अकाउंट डिलीट या अस्थायी रूप से बंद कर दिया।
यह भी संभव है कि शौकत अली के फेसबुक एकाउंट पर हिन्दू-घृणा से भरे हुए अन्य पोस्ट और टिप्पणियाँ भरे पड़े हों, जिस कारण उपरोक्त कमेंट्स को हटाने के बजाए अपने एकाउंट को ही पूरी तरह से गायब करने के लिए वह मजबूर हो गया होगा।
यह भी ध्यान देने की बात है कि हिन्दुओं के खिलाफ गो-मूत्र और गाय से संबंधित कटाक्ष उसी भाषा की याद दिलाते हैं, जो पुलवामा में हुए फिदायीन आतंकी हमले से पहले उसके अभियुक्त आदिल अहमद डार ने इस्तेमाल की थी।
कांग्रेस के DNA में ही है हिन्दू विरोध
यह महज एक संयोग नहीं है कि शाहीन कथित तौर पर कांग्रेस पार्टी के छात्र संघ से जुड़ा हुआ है। कांग्रेस के नेता, लंबे समय से हिन्दुओं के खिलाफ घृणा को बढ़ावा देते आए हैं और ऐसे बयानों को अपनी विचारधारा का आधार साबित करने का प्रयास किया है।
लगभग हर दूसरे दिन ऐसे मामले सामने आते हैं जिनमें कांग्रेस नेता या उनके सोशल मीडिया प्रभारी गो-मूत्र पर चुटकुले और तंज कसते नजर आते हैं।
जब दुनिया कोरोना वायरस के खतरे से जूझ रही थी, महिला कांग्रेस की सोशल मीडिया समन्वयक, लावण्या बल्लाल ने एक ट्वीट में कटाक्ष करते हुए कहा था कि बाहर के लोग कोरोना वायरस का ‘इलाज’ बेच रहे हैं जबकि ‘भारत के पास गो-मूत्र’ है।
यह कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गाँधी ही थे, जिन्होंने लश्कर की तुलना में ‘भगवा आतंक’ शब्द को स्थापित करने का प्रयास किया था। वहीं, पी चिदंबरम और सुशील कुमार शिंदे ने बिना किसी प्रमाण या कारण के हिन्दुओं को आतंकवादी कहा था।
कांग्रेस नेता और पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा था कि हमारे देश के संसाधनों पर मुसलमानों का पहला अधिकार है। इन सबको यदि एक बार के लिए छोड़ भी दिया जाए तो कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने जिस तत्परता से हिन्दुओं को आतंकवादी साबित करने का प्रयास किया है, वह जगजाहिर है।